एहन जीवन मनभावन।
भेटल मुख केर मधुर भाषा मैथिली,
जन्म ठाम मिथिलांगन।
पावन भूमि संपूर्ण अवनि सुन्दर वाटिका भारत देश।
भाँति भाँति केर फूल खिलल कमल तूल मिथिला प्रदेश।
प्रीत रंग में हृदय रंगायल मुख ऊपर प्रेमक सन्देश।
भाँति भाँति केर फूल खिलल कमल तूल मिथिला प्रदेश।
प्रीतक रस में भाव डूब्बल,
मधुर रस में बोली।
संस्कार रस में विचार डूब्बल,
स्नेहिल समाज टोली।
मान मर्यादा रीती संस्कृति भरल पुरखक आदर सत्कार।
क्षणिक क्रोध हृदय में परन्तु संवेदना संग हर्षित परिवार।
पौराणिक कथा सिया राम केर जतअ आयल देव महेश।
भाँति भाँति केर फूल खिलल कमल तूल मिथिला प्रदेश।
अछि एक हीं वांछा सूनु प्रभु,
पूर्ण करू मनोकामना।
मिथिला जन्म मैथिली भाषा,
अगलो जन्म मैथिल अँगना।
सुन्दर सुखद सरस मनभावन दरशन चहुओर सुहाबन।
भाव प्रधान जीवन दशा अवलोकित संस्कारित सदिखन।
कोकिल विद्यापति लाल दासक विद्धवता भाव विशेष।
भाँति भाँति केर फूल खिलल कमल तूल मिथिला प्रदेश।
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युवा सर्जक सुबोध शरदक स्मृति मे 'ई-मिथिला" लेल ई नोरायल पोस्ट चर्चित युवा कवि विकाश वत्सनाभ लिखलनिए. तकरा लेल ई-मिथिला सदैव विकाशक आभारी-मॉडरेटर।
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